केंद्रीय मंत्री गजेंद्रसिंह शेखावत के साथ पोस्टर लगाकर संजीवनी मामले पर चुप्पी साधने पर मांगा जवाब,गहलोत समर्थकों का पायलट पर तीखा कटाक्ष

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जोधपुर। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के गृह जिले में इन दिनों सड़कों पर लगा एक पोस्टर चर्चा का विषय बना हुआ है। पोस्टर पर केंद्रीय जलशक्ति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत और पूर्व उपमुख्यमंत्री सचिन पायलट की तस्वीरे हैं। इन तस्वीरों के साथ सवाल किया गया है कि संजीवनी घोटाले पर चुप क्यों हो पायलट जी, जनता जवाब मांगती है। पोस्टर के नीचे जोधपुर जिला कांग्रेस कमेटी के तीन सदस्यों की फोटो और नाम हैं। ये हैं जिला संगठन महामंत्री कुश गहलोत, सचिव जिला कांग्रेस कमेटी ललित कुमार गहलोत और जिला प्रवक्ता भाकर राम विश्नोई है।

जिला प्रवक्ता भाकर राम विश्नोई ने पोस्टर को लेकर कहा कि करीब एक डेढ़ साल से सरकार में यह विवाद चल रहा है, जब सचिन पायलट मानेसर गए थे। सचिन पायलट सरकार में विपक्ष की भूमिका निभा रहे हैं। भ्रष्टाचार उजाकर करना, जांच की मांग करना अच्छी बात है। जनहित में यह मुद्दे उठाने चाहिए लेकिन जोधपुर सांसद और केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने इतना बड़ा संजीवनी घोटाला किया। लोगों की मेहनत की करोड़ों रुपए की कमाई चली गई लेकिन सचिन पायलट की जुबान इस घोटाले पर बंद रहती है। उन्होंने कभी भी संजीवनी घोटाले पर उंगली नहीं उठाई। न कभी किसी सार्वजनिक मंच से इस घोटाले के बारे में बात की। न कभी किसी सोशल मीडिया पर इसके विरोध में कुछ लिखा। जनता जानता चाहती है कि ऐसा क्यों।

भाकर ने कहा कि मैं जिला कांग्रेस कमेटी का छोटा सा कार्यकर्ता हूं। आखिर क्या बात है, ये कैसा रिश्ता है सचिन पालट और गजेंद्र सिंह शेखावत का कि वे अजमेर से जयपुर तक जन संघर्ष यात्रा निकालते हैं। जयपुर के भांकरोटा में सभा करते हैं। अपनी ही सरकार के खिलाफ बात करते हैं। उसी दिन गजेंद्र सिंह शेखावत उनकी तारीफ करते हैं। आप दोनों का रिश्ता क्या है, यह सार्वजनिक करना चाहिए।
बता दें कि मुख्यमंत्री के गृहनगर में चौराहों पर लगे ये पोस्टर नई राजनीतिक चर्चा का विषय बन गए हैं। जोधपुर में रातानाडा सर्किल सहित अलग-अलग स्थानों पर ये पोस्टर लगाए गए हैं। संजीवनी क्रेडिट कोआपरेटिव मामले में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने शेखावत को घेरा था। संजीवनी मामले में शेखावत के खिलाफ हाईकोर्ट में भी केस चल रहा है।

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