पानी की टंकी पर चढ़ा ठेकेदार , निर्माण कार्य के भुगतान में गबन का आरोप

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सवा पांच घंटे बाद प्रशासन व सिविल डिफेंस टीम की समझाइश उतरा नीचे
प्रशासन ने ली राहत की सांस

शाहपुरा, : कस्बें के त्रिवेणी रोड़ स्थित जलदाय विभाग के जेईएन कार्यालय परिसर में बनी पानी की टंकी पर शुक्रवार को करीब दोपहर 12.30 बजे निर्माण कार्य के भुगतान में गबन का आरोप लगाते हुए एक ठेकेदार उसके ऊपर चढ़ गया जिसकी सूचना मिलते ही मौके पर तहसीलदार महेश ओला, डीएसपी संरेन्छ्र कृष्णियां, थानाधिकारी अरूण पूनियां व जलदाय विभाग के एईएन-जेईएन मौके पर पहुॅचे और पानी की टंकी पर चढ़े ठेकेदार से मोबाइल पर वार्ता करते हुये समझाईस की और नीचे उतरने के लिये कहते रहे बाद में जयपुर से आई सिविल डिफेंस की टीम ने टंकी के चारों तरफ जाल लगाया और कार्रवाई शुरू करने से पहले एक बार फिर से प्रशासन व सिविल डिफेंस द्वारा माइक से चेतावनी देते हुए समझाईस की और नीचे आकर अपनी समस्याएं बताने के लये कहॉ जिसके बाद शाम को 5:41 पर ठेकेदार पानी की टंकी से नीचे उतरा जिसके बाद प्रशासन ने राहत की सांस ली।
जानकारी के अनुसार ठेकेदार गोपाल सिंह गौरा निवासी बरवाड़ा (सामोद)शुक्रवार दोपहर करीब 12:30 बजे जलदाय विभाग के जेईएन कार्यालय परिसर में बनी करीब 60 फूट उची पानी की टंकी पाइप के सहारे उपर टंकी पर चढ़ गया और रेलिंग पर बैनर बांध कर पंपलेंट नीचे गिराने लगा जिसे देखकर लोगो की नजर उसके उपर पड़ी तो मौके पर भारी भींड़ जमा हो गई और लोगो ने पुलिस प्रशासन व जलदाय विभाग के अधिकारीयों को इसकी सूचना दी। सूचना के बाद प्रशासन के हाथ पांव फूल गए और डीएसपी सुरेंद्र कृष्णिया, तहसीदार महेश ओला, थानाधिकारी अरूण पुनिया, जलदाय विभाग के सहायक अभियंता रामावतार सिंगोदिया, मौके पर पहुॅचे और नीचे उतरने की समझाइश की। सहायक अभियंता रामावतार सिंगोदिया, तहसीलदार महेश ओला पीपलोद नारायण ग्राम में प्रशासन गांवों के कैंप से पहुंचे। डीएसपी सुरेंद्र कृष्णिया, थाना प्रभारी अरूण पुनिया मौके पर पहुंचे और नीचे उतरने की समझाइश की। टंकी पर चढ़े ठेकेदार ने पंपलेट फेककर आरोप लगाते हुये बताया कि ग्राम पंचायत जगतपुरा में 2018 में सभा भवन, ब्लॉक निर्माण कार्य, सडक़ निर्माण कार्य आदि में उन्हें पूरा भुगतान नहीं दिया गया। उन्होंने ग्राम पंचायत के तत्कालीन सरपंच व सचिव आदि पर गबन का आरोप लगाते हुए प्रशासन से बकाया भुगतान की मांग की। प्रशासन ने ठेकेदार से इशारा कर मोबाइल नंबर मांगे तो उसने कागज पर लिखकर अपने नंबर दिये जिसके बाद तहसीलदार ने ठेकेदार से बातचीत कर नीचे आकर अपनी समस्या बताने का आग्रह किया। लेकिन कई तरह की बाते करता रहा। तहसीलदार ने पंचायत समिति के सहायक लेखा अधिकारी गणपत मीणा व सहायक अभियंता राजेश गुप्ता से मोबाइल पर बात भी करवा दी। लेकिन ठेकेदार सहमत नहीं हुआ। सूचना पर पालिकाध्यक्ष बंशीधर सैनी, कांग्रेसी नेता मनीष यादव, समाज सेविका प्रीति चौधरी, उपाध्यक्ष राजेंद्र सारण भी पहुंचकर मामले की जानकारी ली।

पूर्व में दो दफा हो चुकी है मामले की जांच
जानकारी के अनुसार ठेकेदार गोपाल सिंह द्वारा भुगतान को लेकर जाक बात बताई गई उसकी जांच ठेकेदार द्वारा की गई शिकायत के बाद पंचायत समिति स्तर व जिला परिषद स्तर पर जांच हो चुकी है। जांच में क्लीन चिट मिलने के बाद ठेकेदार ने मुख्यमंत्री कार्यालय में शिकायत की जिसे लेकर 8 मई को सीएमओ से जांच टीम आ रही बताई।

सिविल डिफेन्स टीम ने टंकी के चारों ओर बांधा जाल
समझाईस के बाद भी ठेकेदार के नीचे नही उतरने पर तहसीलदार महेश ओला ने पुरे घटनाक्रम की जानकारी जिला कलेक्टर को दी और सिविल डिफेंस टीम को भेजने का आग्रह किया जिसके बाद जयपुर से 3:30 बजे सिविल डिफेंस टीम शाहपुरा पहुंची और टीम प्रभारी असरार अहमद के निर्देश पर टीम ने दो घंटे की मशक्कत के बार्द टंकी के चारों तरफ जाल बांधा गया। इसके बाद शाम 5:30 बजे माइक पर तहसीलदार ओला ने माइक पर अलाउंस कर चेतावनी दी।
रेस्क्यू टीम के अधिकारी असरार अहमद ने जिला कलेक्टर से भुगतान संबंधित सभी शिकायतों का तत्परता से निवारण करने का आश्वासन दिलाते हुए नीचे आकर बातचीत करने का आग्रह किया। इस पर ठेकेदार गौरा मान गया और 5:37 पर टंकी से नीचे उतरना शुरू कर दिया। 5:42 पर नीचे आते ही पुलिस ने अपनी गाड़ी में बैठा कर राजकीय चिकित्सालय में मेडिकल करवाया। बाद में पुलिस थाने ले कर चली गई।

-तहसीलदार द्वारा कार्रवाई की चेतावनी के बाद पहुंचे सहायक लेखा अधिकारी
टंकी पर चढ़े ठेकेदार द्वारा बार-बार पंचायत समिति के सहायक लेखा अधिकारी गणपत मीणा का बार-बार नाम लिया जा रहा था जिस पर तहसीलदार ने पहले विकास अधिकारी से सहायक लेखा अधिकारी को मौके पर भेजने को कहा। पंचायत समिति के सहायक लेखा अधिकारी के नहीं पहुंचने पर तहसीलदार ने किसी से सहायक लेखा अधिकारी के मोबाइल नंबर लेकर उनसे बातचीत की और शीघ्र आने को कहा लेकिन काफी देर बाद तक नहीं पहुंचने पर तहसीलदार ने आखिरकार 5 मिनट में नहीं पहुंचने पर कार्रवाई की चेतावनी दी गई जिसके बाद सहायक लेखा अधिकारी व एईन राजेश गुप्ता मौके पर पहुंचे।
इनका कहना है राज्य स्तर से प्रकरण की जांच के लिए कमेटी बनी हुई है जिसकी जांच रिपोर्ट आने के बाद नियमानुसार कार्रवाई की

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