जयपुर, 25 जुलाई। जिला उपभोक्ता आयोग, द्वितीय ने संपूर्ण राशि का भुगतान होने के बाद भी प्लॉट का पंजीकरण नहीं कराने को सेवा दोष माना है। इसके साथ ही आयोग ने एस्सेट रि-कंस्ट्रक्शन कंपनी इंडिया लि. पर एक लाख बीस हजार रुपए का हर्जाना लगाया है। इसके साथ ही प्लॉट का पंजीकरण एक माह में करने को कहा है। ऐसा नहीं करने पर आयोग ने परिवादी की ओर से अदा की गई पांच लाख 74 हजार रुपए की राशि नौ फीसदी ब्याज सहित लौटाने को कहा है। आयोग अध्यक्ष ग्यारसी लाल मीना ने यह आदेश कयामुद्दीन के परिवाद पर दिए।
परिवाद में कहा गया कि उसने फर्म से बीलवा स्थित प्लॉट को नीलामी में खरीदा था। इसके पेटे उसने फर्म को पांच लाख 74 हजार रुपए अदा कर दिए थे। इसके बावजूद भी फर्म की ओर से अब तक उसका पंजीकरण नहीं कराया गया। जब परिवादी ने फर्म के कार्यालय में जाकर शिकायत दी तो संचालकों ने प्लॉट का पंजीकरण कराने से इनकार कर इसे किसी अन्य को बेचने की बात कही। ऐसे में उसे राशि ब्याज सहित दिलाई जाए।
2023-07-25